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R.खबर ब्यूरो। बीकानेर, किसी पिता के लिए इससे बड़ी सम्मान की बात क्या होगी जब उसके रिटायरमेंट ऑर्डर पर उनका बेटा साइन करें। पिता-पुत्र की सफलता की यह कहानी राजस्थान के बीकानेर जिले से सामने आई है। जहां पिता के रिटायरमेंट ऑर्डर पर बेटे ने साइन किए। इस दौरान पिता-पुत्र दोनों की आंखें खुशी से नम हो गई। मामला बीकानेर के नोखा स्थित राजकीय उच्च माध्यमिक स्कूल बंधड़ा के शिक्षक जोगाराम जाट से जुड़ा है। जोगाराम जाट 39 साल 2 महीने 20 दिन की शिक्षक की नौकरी करने के बाद मंगलवार को रिटायर हुए थे। 

पिता जिस स्कूल में टीचर, वहीं प्रिसिंपल है बेटा:-

जोगाराम जाट का रिटायरमेंट इसलिए यादगार हो गया क्योंकि उनके रिटायरमेंट ऑर्डर पर उनके बेटे श्याम सुंदर चौधरी ने दस्तख्त किए। जानकारी के अनुसार जोगाराम जाट जिस राजकीय उच्च माध्यमिक स्कूल में शिक्षक थे, उसी स्कूल में उनका बेटा श्याम सुंदर चौधरी प्रिसिंपल हैं। ऐसे में पिता के रिटायरमेंट ऑर्डर पर बेटे ने साइन किए। 

मिली जानकारी के अनुसार जोगाराम जाट और श्याम सुंदर चौधरी की पिता-पुत्र जोड़ी जून 2016 से इस स्कूल में तैनात थी। जोगाराम नोखा के केड़ली गांव के रहने वाले हैं। दोनों पिता-पुत्र एक ही स्कूल में बीते 8 साल से बच्चों को पढ़ा रहे थे।

‘बेटे ने रिटायरमेंट ऑर्डर पर साइन किए, ये मेरे लिए खुशी की बात’:-

रिटायरमेंट के बाद जोगाराम जाट ने मीडिया को कहा कि 12 अक्टूबर 1985 में टीचर बना था। मेरे लिए आज का दिन बहुत गर्व का है। मैं आज अपनी राजकीय सेवा से रिटायर हुआ। ये और खुशी का बात है कि मेरे बेटे ने मेरे रिटायरमेंट ऑर्डर पर साइन किए। दूसरी ओर स्कूल के प्रिसिंपल और जोगाराम जाट के बेटे श्याम सुंदर ने बताया- पिता के रिटायरमेंट आदेश पर साइन करना मेरे लिए भावुक पल था।

शिक्षक सम्मान भी पा चुके हैं श्याम सुंदर चौधरी:-

श्याम सुंदर ने बताया कि 13 अक्टूबर 2011 को वो टीचर बने थे। इसके बाद 20 जुलाई 2015 को कैमिस्ट्री के स्कूल लेक्चरर बने। 28 फरवरी 2023 को वाइस प्रिंसिपल बने। इसके बाद 1 अक्टूबर 23 से कार्यवाहक प्रिंसिपल के रूप में कार्यरत है। स्कूल में किए गए कामों को लेकर श्याम सुंदर चौधरी 2022 में राज्य स्तरीय शिक्षक सम्मान से भी पुरस्कृत हो चुके हैं।

रिटायरमेंट पर तीन स्कूलों में दान भी दिए:-

रिटायरमेंट पर जोगाराम जाट ने राजकीय उच्च माध्यमिक स्कूल बंधड़ा में 31000 हजार रुपए, राजकीय उच्च माध्यमिक स्कूल केड़ली में 11000 रुपए और राजकीय प्राथमिक स्कूल केड़ली में 5100 रुपए का सहयोग दिया। पिता-पुत्र की इस सफल जोड़ी को देखकर स्कूल में काम करने वाले अन्य लोगों के गांव के लोग भी बेहद खुश नजर आए।