











‘अब और सहन नहीं कर सकता…’, सूदखोरों से परेशान होकर युवक ने दे दी जान, सुसाइड नोट में लिख गया 7 नाम
R.खबर ब्यूरो। झुंझुनू, पुलिस के अनुसार शनिवार शाम सुरेश सेन घर से निकले और उनका मोबाइल बंद हो गया। परिजन रातभर संपर्क करने की कोशिश करते रहे, लेकिन कोई उत्तर नहीं मिला। रविवार सुबह उनके जीजा महेंद्र सेन बीरबल बाजार स्थित बेसमेंट पहुंचे, जहां अंदर से दरवाजा बंद मिला। दरवाजा तोड़ने पर सुरेश का शव मिला।
पुलिस ने शव को बीडीके अस्पताल की मोर्चरी में रखवाया। सुसाइड नोट में सुरेश ने बास घासीराम, सुधीर कटारिया, सुरेंद्र कुमार आनंदपुरिया, देवकरण फगेड़िया, ताराचंद, रामनिवास महला और युनूस खान ठेकेदार पर संपत्ति की रजिस्ट्री रोकने और उधार लिए पैसे पर अत्यधिक ब्याज व धमकियों का आरोप लगाया है।
पुलिस ने सुसाइड नोट को एफएसएल जांच के लिए भेजा। वहीं मारिगसर निवासी राजेंद्र कुमार ने सातों आरोपियों के खिलाफ “आत्महत्या के लिए मजबूर करने” का मामला दर्ज कराया है।
सुरेश सेन ने सुसाइड नोट में लिखा कि उन्होंने सभी उधार की गई राशि चुका दी थी, फिर भी आरोपियों ने मानसिक उत्पीड़न और धमकियां जारी रखीं। उन्होंने परिवार से क्षमा भी मांगी।
शव बीडीके अस्पताल मोर्चरी में रखा है और परिजन आरोपियों की गिरफ्तारी तक शव नहीं लेने की मांग कर रहे हैं।
सुरेश सेन के परिवार में माता-पिता, पत्नी, पुत्र-पुत्रवधू और अविवाहित पुत्री हैं। उनके पुत्र निखिल सहकारिता विभाग में LDC पद पर कार्यरत हैं, जबकि पुत्रवधू सैकंड ग्रेड शिक्षक हैं। परिवार के अनुसार सुरेश पिछले कुछ महीनों से अत्यधिक मानसिक तनाव में थे और कई बार पुलिस में शिकायत करने की बात करते थे।

