











बीकानेर, सम्भाग के सबसे बड़े राजकीय डूंगर महाविद्यालय में शुक्रवार से सूक्ष्म जीवाश्मिकी विषयक ऑनलाइन व्याख्यान माला प्रारम्भ हुई। प्राचार्य डॉ. सतीश कौशिक ने बताया कि सात अगस्त से तेरह अगस्त तक चलने वाली इस व्याख्यान माला में हरिसिंह गौड़ विश्वविद्यालय, सागर के प्रो. वी.के.कथल सूक्ष्म जीवाश्मिकी का परिचय, वर्गीकरण और महत्व सहित विभिन्न पहलुओं पर विस्तार से व्याख्यान प्रस्तुत करेगे।
इस अवसर पर डॉ. कौशिक ने ईक्लास की भूमिका रखते हुए कहा कि कोरोना से उत्पन्न परिस्थितियों की वजह से शिक्षण कार्य ऑनलाइन शिफ्ट हो गया है। इसलिये एक नई पहल करते हुए राजस्थान के विभिन्न महाविद्यालयों एवं विश्वविद्यालयों के भूगर्भ विषय के स्नातकोत्तर विद्यार्थियों के लिये गुगल मीट पर ईक्लास श्रृंखला के माध्यम से भूगर्भ विषय की नवीनतम जानकारी से अवगत कराया जायेगा।
इस ऑनलाइन व्याख्यानमाला के मुख्य अतिथि महाविद्यालय शिक्षा के निदेशक संदेश नायक ने उद्घाटन अवसर पर अपने उद्बोधन में डूंगर महाविद्यालय की भूरि भूरि प्रशंषा करते हुए कहा कि प्रकार के कार्यक्रम वर्तमान समय की महती आवश्यकता है।
उन्होनें विद्यार्थियों से इसका अधिकाधिक लाभ उठाने की अपील भी की।
इस अवसर पर भूगर्भ विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. शिशिर शर्मा ने अतिथियों एवं प्रतिभागियों का स्वागत एवं परिचय करवाया। डॉ. शर्मा ने कहा कि इस व्याख्यान माला के संयोजक डॉ. देवाराम होगें। व्याख्यान माला में जयपुर, जोधपुर, डीडवाणा एवं खेतड़ी सहित पूरे प्रदेश के विद्यार्थी, शोधार्थी एवं संकाय सदस्य भाग ले रहे हैं। उन्होनें बताया कि कार्यक्रम में जोधपुर के प्रो. सुरजाराम जाखड़ ने भी विद्यार्थियों को भूगर्भ के मूलभूत सिद्धान्तों से अवगत करवाया एवं बांगड़ महाविद्यालय डीडवाना के भूगर्भ विभाग के विभागध्यक्ष डॉ. अरूण व्यास ने मुख्य वक्ता प्रो. वी.के.कथल का परिचय दिया।
सात दिन तक चलने वाली इस श्रृंखला में सूक्ष्म जीवाश्मिकी के विभिन्न पहलुओं की विस्तृत जानकारी विद्यार्थियों को दी जावेगी।

 
 